loader
R Kumar

R Kumar

Total Followers : 14

5804 Messages

आप सभी भगतो को भादी मावस की हार्दिक शुभकामनाएँ और बधाई माँ राणी सती दादी आप सभी भगतो की मनोकामनाएं पूर्ण करें  यही दादी से प्रार्थना करता हूँ 🙏जय दादी जी की 🙏🌹🙏🏼

स्कूल टीचर ने बोर्ड पर लिखा:
9×1=9
9×2=18
9×3=27
9×4=36
9×5=45
9×6=54
9×7=63
9×8=72
9×9=81
9×10=89

लिखने के बाद बच्चों को देखा तो बच्चे शिक्षक पर हंस रहे थे, क्योंकि आखिरी लाइन गलत थी।

फिर शिक्षक ने कहा:
"मैंने आखिरी लाइ

Show More

स्कूल टीचर ने बोर्ड पर लिखा:
9×1=9
9×2=18
9×3=27
9×4=36
9×5=45
9×6=54
9×7=63
9×8=72
9×9=81
9×10=89

लिखने के बाद बच्चों को देखा तो बच्चे शिक्षक पर हंस रहे थे, क्योंकि आखिरी लाइन गलत थी।

फिर शिक्षक ने कहा:
"मैंने आखिरी लाइन किसी उद्देश्य से गलत लिखी है क्यूंकि मैं तुम सभी को कुछ अत्यंत महत्वपूर्ण सिखाना चाहता हूं।

दुनिया तुम्हारे साथ ऐसा ही व्यवहार करेगी..!
तुम देख सकते हो कि मैंने ऊपर 9 बार सही लिखा है पर किसी ने भी मेरी तारीफ नहीं की..??

पर मेरी सिर्फ एक ही गलती पर तुम लोग हंसे और मुझे क्रिटिसाइज भी किया।"

तो यही नसीहत है :
दुनिया कभी भी आपके लाख अच्छे कार्यों को एप्रीशिएट (appreciate) नहीं करेगी, परन्तु आपके द्वारा की गई एक गलती को क्रिटिसाइज (criticize) जरूर करेगी।

-ये एक कटु सत्य है
🙏 🙏👌👌

स्त्री हूँ मैं
सब सम्भाल लेती हूँ।
आँगन की रंगोली हो..
या दफ्तर की फाइलें.,
परिवार की चिंता हो..
या बॉस की डाँट.,
साड़ी के पल्लू से बाँध लेती हूँ !!
स्त्री हूँ न, सब संभाल लेती हूँ !!

ननद के राज़,देवर की शरार

Show More

स्त्री हूँ मैं
सब सम्भाल लेती हूँ।
आँगन की रंगोली हो..
या दफ्तर की फाइलें.,
परिवार की चिंता हो..
या बॉस की डाँट.,
साड़ी के पल्लू से बाँध लेती हूँ !!
स्त्री हूँ न, सब संभाल लेती हूँ !!

ननद के राज़,देवर की शरारतें..
बच्चों की अठखेलियाँ, दादी माँ के नुस्खे.,
पति का प्यार,सास ससुर की देखभाल..
ऑफिस में दोस्तों संग धूम मचा लेती हूँ !!
स्त्री हूँ न, सब सम्भाल लेती हूँ !!

सखी की शादी..
ड्रेस डिज़ाइन या हेयर स्टाइल.,
पल में संवार देती हूँ.!
बच्चों के स्कूल प्रोजेक्ट..
पिया जी के मनपसंद खाने का स्वाद.,
चुटकियों में भाग दौड़ के..
सब काम बना लेती हूँ.,
स्त्री हूँ न , सब सम्भाल लेती हूँ !!

खुश होती हूँ, गर्व से झूमती हूँ..
अपनों की ख्वाहिशों में दुनिया सजा लेती हूँ.,
हाँ हर कदम पर मैं सब सम्भाल लेती हूँ !!

पर...... मैं भी टूटती हूँ..
बिखरती हूँ.,
कमज़ोर भी पड़ जाती हूँ..
काश! कोई मुझे भी संभाल ले..!
इस ख़्याल से नम पलकों को..
तकिए से बाँट फिर मुस्कुरा लेती हूँ !!
स्त्री हूँ न, सब संभाल लेती हूँ..!

I wish u Happy Ganesh Chaturthi and I pray to God for your prosperous life.
May you find all the delights of life,
May your all dreams come true.
Happy Ganesh Chaturthi

एक राजा था ।.. उसने एक सर्वे करनेका सोचा कि मेरे राज्य के लोगों की घर गृहस्थि पति से चलती है या पत्नि से..।
उसने एक ईनाम रखा कि "  जिसके घर में पतिका हुकम चलता हो उसे मनपसंद घोडा़ ईनाम में मिलेगा और

Show More

एक राजा था ।.. उसने एक सर्वे करनेका सोचा कि मेरे राज्य के लोगों की घर गृहस्थि पति से चलती है या पत्नि से..।
उसने एक ईनाम रखा कि "  जिसके घर में पतिका हुकम चलता हो उसे मनपसंद घोडा़ ईनाम में मिलेगा और जिसके घर में पत्नि की सरकार हो वह एक सेब ले जाए.. ।
एक के बाद एक सभी नगरजन सेब उठाकर जाने लगे । राजाको चिंता होने लगी.. क्या मेरे राज्य में सभी सेब ही हैं ?
इतने में एक लम्बी लम्बी मुछों वाला, मोटा तगडा़ और लाल लाल आखोंवाला जवान आया और बोला
" राजा जी मेरे घर में मेरा ही हुकम चलता है .. ला ओ घोडा़ मुझे दिजीए .."
राजा खुश हो गए और कहा जा अपना मनपसंद घोडा़ ले जा ..। जवान काला घोडा़ लेकर रवाना हो गया ।
घर गया और फिर थोडी़ देरमें दरबार में वापिस लौट आया।
राजा: " क्या हुआ जवामर्द ? वापिस क्यों आया !
जवान : " महाराज, घरवाली कहती है काला रंग अशुभ होता है, सफेद रंग शांति का प्रतिक होता है तो आप मुझे सफेद रंग का घोडा़ दिजिए
राजा: " घोडा़ रख ..और सेब लेकर चलती पकड़ ।
इसी तरह रात हो गई .. दरबार खाली हो गया लोग सेब लेकर चले गए ।
आधी रात को महामंत्री ने दरवाजा खटखटाया..
राजा : " बोलो महामंत्री कैसे आना हुआ ?
महामंत्री : " महाराज आपने सेब और घोडा़ ईनाम में रखा ,इसकी जगह एक मण अनाज या सोना महोर रखा होता तो लोग लोग कुछ दिन खा सकते या जेवर बना सकते ।
राजा :" मुझे तो ईनाम में यही रखना था लेकिन महारानी ने कहा कि सेब और घोडा़ ही ठीक है इसलिए वही रखा ।
महामंत्री : " महाराज आपके लिए सेब काट दुँ..!!
राजा को हँसी आ गई । और पुछा यह सवाल तुम दरबारमें या कल सुबह भी पुछ सकते थे । तो आधी रात को क्यों आये ??
महामंत्री : " मेरी धर्मपत्नि ने कहा अभी जाओ और पुछ के आओ सच्ची घटना का पता चले ..।
राजा ( बात काटकर ) : " महामंत्री जी , सेब आप खुद ले लोगे या घर भेज दिया जाए ।"
Moral of the story..
 समाज चाहे पुरुषप्रधान हो लेकिन संसार स्त्रीप्रधान है

दोस्तो आपका यह दोस्त भी अभी सेब खा रहा है।
😀😀

दिल से जो भी मांगोगे मिलेगा
ये गणेश जी का दरबार है,
देवों के देव वक्रतुंडा महाकाया को
अपने हर भक्त से प्यार है..!!
गणेश चतुर्थी की शुभ कामनाएं

🙋🏻बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ

एक दिन की बात है लड़की की माँ खूब परेशान होकर अपने पति को बोली की एक तो हमारा एक समय का खाना पूरा नहीं होता और बेटी दिन ब दिन बड़ी होती जा रही है

गरीबी की हालत में इसकी शादी

Show More

🙋🏻बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ

एक दिन की बात है लड़की की माँ खूब परेशान होकर अपने पति को बोली की एक तो हमारा एक समय का खाना पूरा नहीं होता और बेटी दिन ब दिन बड़ी होती जा रही है

गरीबी की हालत में इसकी शादी कैसे करेंगे ?

बाप भी विचार में पड़ गया. दोनों ने दिल पर पत्थर रख कर एक फैसला किया की कल बेटी को मार कर गाड़ देंगे .

दुसरे दिन का सूरज निकला , माँ ने लड़की को खूब लाड प्यार किया , अच्छे से नहलाया , बार - बार उसका सर चूमने लगी .

यह सब देख कर लड़की बोली : माँ मुझे कही दूर भेज रहे हो क्या ?

वर्ना आज तक आपने मुझे ऐसे कभी प्यार नहीं किया , माँ केवल चुप रही और रोने लगी ,

तभी उसका बाप हाथ में फावड़ा और चाकू लेकर आया , माँ ने लड़की को सीने से लगाकर बाप के साथ रवाना कर दिया . रास्ते में चलते - चलते बाप के पैर में कांटा चुभ गया , बाप एक दम से नीचे बैठ गया ,

बेटी से देखा नहीं गया उसने तुरंत कांटा निकालकर फटी चुनरी का एक हिस्सा पैर पर बांध दिया .

बाप बेटी दोनों एक जंगल में पहुचे बाप ने फावड़ा लेकर एक गढ्ढा खोदने लगा बेटी सामने बैठे - बेठे देख रही थी , थोड़ी देर बाद गर्मी के कारण बाप को पसीना आने लगा .

बेटी बाप के पास गयी और पसीना पोछने के लिए अपनी चुनरी दी . बाप ने धक्का देकर बोला तू दूर जाकर बैठ। थोड़ी देर बाद जब बाप गढ्ढा खोदते - खोदते थक गया ,

बेटी दूर से बैठे -बैठे देख रही थी, जब उसको लगा की पिताजी शायद थक गये तो पास आकर बोली पिताजी आप थक गये है .

लाओ फावड़ा में खोद देती हु आप थोडा आराम कर लो . मुझसे आप की तकलीफ नहीं देखी जाती .

यह सुनकर बाप ने अपनी बेटी को गले लगा लिया, उसकी आँखों में आंसू की नदियां बहने लगी , उसका दिल पसीज गया ,

बाप बोला : बेटा मुझे माफ़ कर दे , यह गढ्ढा में तेरे लिए ही खोद रहा था . और तू मेरी चिंता करती है , अब जो होगा सो होगा तू हमेशा मेरे कलेजा का टुकड़ा बन कर रहेगी मैं खूब मेहनत करूँगा और तेरी शादी धूम धाम से करूँगा -

सारांश : बेटी तो भगवान की अनमोल भेंट है ,इसलिए कहते हैं बेटा भाग्य से मिलता है और बेटी सौभाग्य से।।

🙏🏻🙏🏻🙏🏻

🙋🏻बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ

🙏🌹💐  सावंली💐🌹🙏

बारातखालीलौटचुकीथी, शादी के मेहमान भी सारे लौट_चुके थे..
इस बार शादी दहेज के लिए नहीं ..लड़की के सावले पन की वजह से टूटी थी...लड़की का बाप सबके पैरों मे गिरा था...आखीर बाप था बेटी क

Show More

🙏🌹💐  सावंली💐🌹🙏

बारातखालीलौटचुकीथी, शादी के मेहमान भी सारे लौट_चुके थे..
इस बार शादी दहेज के लिए नहीं ..लड़की के सावले पन की वजह से टूटी थी...लड़की का बाप सबके पैरों मे गिरा था...आखीर बाप था बेटी का, और बेटे से ज्यादा बेटी सम्मानित करती है बाप को। और एक बाप हमेशा अपनी बेटी के कारण सम्मानित होना चाहता है। सगाई के दिन तक लड़का को अंजलि (लड़की का नाम) पसंद थी मगर शादी के वक्त उसने लड़की को उसके सावलेपन के कारण छोड़ दिया।
( एक बात कहूँ दोस्तों?  बुरा मत मानना, मैं लड़का हूँ ..भले मेरा चेहरा आलू जैसा हो मगर लड़की तो मुझे पनीर जैसी ही गोरी और खूबसूरत चाहिए)

अंजली के पिता खाली कुर्सीयो के बिच बैठकर बहुत देर तक रोते रहे...(घर मे बस दो ही लोग, बाप और बेटी अंजलि। जब अंजलि पांच साल की थी तब माँ चल बसी थी, )
अचानक उन्हें ख्याल आया अपनी बेटी अंजलि का, कहीं बारात लौटने की वजह से मेरी बेटी??????
दौड़कर भागते है अंजलि के कमरे की ओर..मगर ये क्या?  अंजलि दो कप चाय लेके मुस्कुराती हुई आ रही थी अपने पापा की ओर। दुल्हन के जोड़े की जगह घर मे काम करते पहन ने वाले कपड़े थे शरीर पर , पापा हैरान उसको इस हालत मे देखकर, गम की जगह मुस्कुराहट निराशा की जगह खुशी, कुछ समझ पाते इससे पहले अंजलि बोल पडी।
बाबा चलो जल्दी से चाय पिओ, और फटाफट ये किराये की पांडाल और कुर्सीया बर्तन सब पहुँचा देते है जिनका है वरना बेकार मे किराया बढ़ता रहेगा,
इधर पापा के लिए अंजलि पहेली बन चुकी थी। बस पापा तो अपनी बेटी को खुश देखना चाहते थे वजह कोई भी हो। इसलिए वजह नही पूछा उन्होंने ।
फिर वह बेटी से बोलते है की...बेटी..चल गाँव वापस जाते है यंहा शहर मे अब दम घुटता है
अंजलि मान जाती है। फिर कुछ दिनों बाद वह शहर छोड़ गाँव वापस आ जाते हैं । गाँव मे वह मछली पकड़ने का काम करते थे मगर अंजलि के मां के गुजर जाने के बाद उनकी यादों से पिछा छुड़ाने के लिए शहर जाके मजदूरी का काम करते थे।
अब फिर उन्होंने वही पेशा अपनाया था, अंजलि भी रोज अपने बाबा के साथ मछली मारने जाने लगी, इधर उस लड़के का एक खूबसूरत गोरी लड़की से शादी तय हो चुका था, लड़का बेहद खुश था, मगर उसे भी शौक था कि दोस्तों के साथ शहर से दूर घूमने का, बस एक दिन ऐसे ही घूमने निकले थे और नदी किनारे मजाक मस्ती कर रहे थे दोस्तो के साथ की पैर फिसलकर गहरे पानी मे लड़का गीर जाता है। नदी का बहाव तेज भी था और गहरा भी, लड़के को बहा ले जाती है नदी, उसके दोस्त बहुत कोशिश करते हैं बचाने की मगर सब व्यर्थ ।
इधर एक सुबह अंजलि के पापा के पापा अकेले नदी जाते है एकदम तडके भोर, तो वंहा रात को बिछाये उनके जाल पे लड़का फँसा मिलता है। वह तुरंत अंधेरे मे ही लड़के को अपने कंधे पे उठाके अपने घर लाते हैं। जंहा बहुत मसक्कत के बाद लड़के को होश आता है। मगर सामने अंजलि और उसके पापा को देखकर बहुत शर्मा जाता है और तुरंत यादश्त जाने की एक्टीगं करता है।
पापा - बेटी ...लड़के को कुछ पता नहीं शायद ये अपनी यादस्त खो चुका है। और इसे कुछ चोटे भी आई है। मैं शहर पहुँचा देता हूँ इसको,
अंजलि - रहने दीजिए दो चार दिन पापा...जब घाव भर जायेगी तो तब  छोड़ देना,
पापा - तू जानती है ये कौन है?
अंजलि - मुस्कुराके अपने बाबा से लिपटकर कहती है...क्यों नहीं बाबा, जानती हूँ । मगर वह पुरानी बातें जो बित चुकी है। अब नया ये है की इनके घाव का इलाज किया जाये। वैसे भी इन्हें अब सावलेपन से कोई दिक्कत नहीं होनी चाहिए क्योंकि ये अपनी यादस्त खो चुके हैं। ये हमारे घर आये घायल मेहमान है इसलिए इन्हें पूरी तरह ठीक करना हमारा धर्म है।
मगर अंजलि के पापा ने मुस्कुराहट के बिच भी बेटी के पलकों पे कुछ नमी महसूस जरूर कि थी, इधर लड़का सारी बाते सुन लेता है। वह बेहद हैरान था इस वक्त।
लड़का का इलाज शुरू होता है। इधर हर समय लड़की लड़के की देखभाल करती है। अंजलि के ख्याल रखने के तरिके को देखकर, लड़के को बहुत प्यार हो जाता है अंजलि से। हंसी मजाक तकरार होती रहती है दोनों में ।
एक दिन जब लड़के का घाव भर जाता है तो लड़का अंजलि से कहता है की।
मैं कौन हूँ कहा से आया मेरा नाम क्या है कुछ नहीं जानता मगर तुम्हारा अपनापन देखकर मुझे यहीं रहने को दिल करता है हमेशा के लिए।
अंजलि- आप चिंता न करो हमारे  बाबा आपको कल शहर छोड़ देंगे और आपको गाड़ी के छत पर बिठाके निचे लिख देंगे की एक खूबसूरत नौजवान के माता पिता के घर का पता बताने वाले को एक लाख दिया जायेगा😂
लड़का - मेरा मजाक उड़ा रही हो?😢
अंजलि - अरे नहीं नहीं, हमारी इतनी औकात कहा जो हम किसी का मजाक उडा़ सके।
लड़का - तुमने कभी किसी से प्यार किया है अंजलि?
अंजलि - नहीं
हाँ मगर किसी एक को मैंने अपनी दुनिया मानी थी मगर उसने मुझे अपना बनाने से इंकार कर दिया ।
लड़का - जरूर वह कोई पागल ही होगा जिसने तुम्हें ठुकराने की गलती की है
अंजलि - नहीं नहीं वह एक समझदार लड़का था। पागल होता तो मुझे जरूर अपना बनाता,
लड़का - यदि वह लड़का फिर से दोबारा अपनी गलती को स्वीकार करके तुम्हें अपनाने आ जाये तो क्या उसे माफ करके उसके साथ शादी करोगी?
इधर अंजलि के पापा दुसरे कमरे से दोनों की बातें सुन रहे थे।
अंजलि - गलती उनकी कुछ भी नहीं थी तो मैं कैसे बिना गलती के उन्हें माफ कर दूँ। गलती तो मेरी थी।
लड़का खुश होकर कहता है की इसका मतलब तुम उस लड़के से शादी कर सकती हो?
अंजलि - बिलकुल नहीं । अब दोबारा उनसे शादी के बारे मे सोच भी नहीं सकती
लड़का - मगर क्यों?  अब फिर क्या उलझन है?
अंजली कुछ देर खामोश रहती है और खिड़की की ओर देखने लगती है शायद कुछ कहने से पहले खुद को सम्भालना चाहती थी, शायद पलकों पे दर्द पिघल रहा था। अंदर उसके पापा भी हैरान चकित होके वजह सुनने को बेताब है।
लड़का पास जाके अंजलि को अपनी तरफ करता है मगर अंजलि की पलकों पे आशुओ का सैलाब देखकर कुछ  कहने की हिम्मत नहीं होतो...
अंजली अपनी पलको को उँगली से साफ करते हुए कहते है की...उस दिन मैंने अपने बाबा को उस इंसान के पैरों पे सर रखके मेरे लिए गिडगिडाकर रोते हुये देखी थी...मेरे उस बाप को जो मेरा अभीमान मेरा घमंड है। पता है उस दिन मैं तशल्ली से अकेले मे रोयी...
बारात लौट चुकी थी। लोग आस्ते आस्ते  जा चुके थे मगर एक शख्स ऐसा भी था जो अपनी बेटी के लिए सबके पैर पकड़ पकड़ के थक सा गया था वह सिर्फ अकेला बैठा था अपनी तक्दीर पर रोने के लिए। खिड़की से बहुत देर तक मेरे उस बेबस बाबा को नमी आखो से देखती रही जो मेरा सबकुछ था। मैंने अचानक अपनी पलकों को पोंछा फिर ठीक से धोया और दुल्हन के वस्त्र खोलकर दूसरी पहन ली, फिर चाय बनाई
 कितना मुश्किल था उस वक्त खुद के आशुओ को रोकना। क्योंकि उस दिन मेरी जिंदगी लौटी थी मुझे एक लाश समझकर । जरूरी था मूस्कुराना, क्योंकि सामने वह शख्स था जो मेरी आशु देखता तो शायद जी नहीं पाता,
मुझे मुस्कुराना था अपने बाबा के लिए क्योंकि मेरी खूबसूरत सल्तनत के मेरे बाबा मेरे राजा है और मैं उनकी राजकुमारी। मुझे सावली मानकर एक शख्स ने ठुकरा दिया मगर मेरे बाबा मेरे लिए वह शख्स थे जब मेरे पाँच साल की उम्र मां गुजर गयी तब भी इन्होंने दूसरी शादी नहीं की कहीं उनकी राजकुमारी को कोई दूसरी औरत आके न सताये..
अंदर अंजलि के पापा का बुरा हाल था, पहली बार वह अपनी बेटी के मुँह से वह दर्द की कहानी सुन रहे थे जिस दर्द को बाप की खातिर झूठे मुस्कान की चादर से बेटी ने ढक के रखा था,मर्द था वह बाप मगर बेटी के दर्द ने मोम की तरह पिघला के रख दिया था,
इधर अंजली रोते रोते आगे कहती है की...हर बेटी के अच्छे बाप की जिंदगी और मौत बेटी के पलकों पे छुपी  होती है। जंहा बेटी मुस्कुराई वहाँ एक पिता को दोगुनी जिंदगी मिलती है और जंहा बेटी रोयी बाप एक तरह से मर ही जाता है। मैं सावली थी उनके लिए मगर मै अपने पापा के लिए एक परी एक राजकुमारी हूँ ।
उन्होंने बारात लौटी दी मेरी दहलीज से मगर मेरे पापा ने उस शहर को ठोकर मार दी जहाँ उनकी राजकुमारी  का अपमान हुआ था। अब सोचो न आप ही कैसे कर लूँ शादी दोबारा उस शख्स से जिसने मेरे खुदा को अपने कदमों मे झुकाया हो ।
माना सावली हूँ मैं मगर हूँ तो एक बेटी ही न?
लड़का पलके झूकाये सुनता रहा। सर उठाया तो कमबख्त भी रो रहा था एक सावली लड़की के दर्द को सुनकर। लड़के कुछ नहीं सुझा तो अपने आप एक हाथ उठाकर अंजलि को सल्यूट कर बैठा और धीमे से कहा।
क्या मै तुम्हें एक बार गले से लगा सकता हूँ?  अंजलि कुछ नहीं कहती मगर लड़का तुरंत अंजलि से गले लगकर बस इतना ही कहता है...की खुदा करे मुझे एक सावली लड़की मिले
दुआ है मेरी कि मुझे तुम मिले😢 फिर अंजलि को उसी हालत पे छोड़ के अंजली के पिता के कमरे मे लड़का आता है। जंहा अंजलि के पिता बैठकर रो रहे थे लड़के को देखकर अचानक खड़े हो जाते है मगर तब तब लड़का उनके पैरों मे गिरकर माफी माँगता है और खड़े होके कहता है की..मेरी यादस्त बिलकुल ठीक है मगर आप ये बात अंजलि को मत बताना वरना ये गुनाह पहले गुनाह से बड़ा होगा, शायद यादस्त मेरी उस वक्त गयी थी जब मैंने अंजलि को ठुकराया था आपको झूकाया था।
मैं कोई सफाई  नहीं दूंगा अपनी बेगुनाही की। हाँ मैंने गुनाह किया है मगर कोई मुझे सजा तो दे कहते कहते लड़का रोने लगता है। मुझे मेरे गुनाहो की सजा के रूप मे अंजलि दे दिजीए।  मुझे आपकी परी चाहिए आपकी राजकुमारी चाहिए।
अंजली के पापा - जाओ बेटा घर जाओ...आपके अपने तलाश कर रहे होंगे। मैं ठहरा एक बाप, मै तो हमेशा उसे खुश देखना चाहता हूँ। मगर इस बार एक बाप खामोश रहेगा इस बार मैंने पूरा हक दिया है मेरी परी को की...वह खुद ढूँढे अपनी खुशी। क्योंकि एक बार दहलीज से उसकी खुशियों को मुँह मुड़कर लौटते देखा है मैंने ।
अबकी बार ऐसा हुआ तो शायद मै.....
तभी लड़का उनके मुँह मे हाथ रखके कहता है...नहीं बाबा नहीं...आपको जिंदा रहना होगा अंजलि के लिए और अंजलि की खुशी ही आप हो। मैं इंतजार करूँगा की कब मेरे गुनाहो की पैरवी होती है। उस दिन जज भी अंजलि होगी और वकील भी अंजलि। सजा दे या रिहा करे... मैं बस उसका ही हूँ 😢😢 इतना कहके लड़का कहता है आगे...बाबा अब आज्ञा दीजिए हमें । हम निकलते है और एक दिन यंहाँ रहा तो मैं जी नहीं सकूँगा अंजली का गुनाहगार बनके। लड़का निकल जाता है इतना कहके। अंजलि दूर तक जाते देखती रहती है अपनी जिंदगी को। मगर पलकों मे एक उम्मीद की नमी थी उसके वापस आने की,
क्योंकि अंजलि लड़के और अपने बाबा की बात सुन चुकी थी
बाबा - अंजलि तू एक बार और सोच ले क्योंकि वह पश्चाताप की आग मे जल रहा है। तेरी खुशी किसमे है पता नहीं मगर मेरी खुशी तो तू है और तेरे बाबा का दिल कहता है । चल फिर तुझे सजा दू दुल्हन के रूप मे उसी लड़के के साथ जिसने तूझे सावली कहा था😢😢😢
अंजली - बाबा । हम तो बस आपको खुश देखना चाहते है। लोग जितना भी नफरत क्यों न करे हमसे। जीतना भी सतायेगा क्यों न हमें कोई फर्क नहीं पड़ता मगर जिस दिन आपको दुखी देखा मैंने
उस दिन टूट जाउगी मै😢😢😢
इधर अंजली बाप की खुशी मे तैयार हो जाती है
उधर लड़का अपने मा बाप को लाता है
इधर लड़का जिद करता है की शादी शहर मे हो उसी घर मे हो जहाँ से मैंने मेरी सावली को ठुकराया था।
सब मान जाते है।
हाँ लड़का पश्चाताप करना चाहता था। उस कलंक को मिटाना चाहता था जिसके वजह से उसकी सावली दुःखी हो गयी थी
🙏🙏🙏

एक बेराजगार इंजीनियर काफी दिनों से नौकरी तलाश रहा था,
पर नौकरी उस लड़की की तरह व्यवहार कर रही थी जो क्लास के सभी लड़को को डेट कर चुकी थी लेकिन सिर्फ उसी से कतरा रही थी।
😜😜😜
उसके साथ के सारे mba, mca जॉ

Show More

एक बेराजगार इंजीनियर काफी दिनों से नौकरी तलाश रहा था,
पर नौकरी उस लड़की की तरह व्यवहार कर रही थी जो क्लास के सभी लड़को को डेट कर चुकी थी लेकिन सिर्फ उसी से कतरा रही थी।
😜😜😜
उसके साथ के सारे mba, mca जॉब पर लग चुके थे लेकिन उसे हर जगह से ठुकराया जा चुका था।
माँ बाप ने भी जेब खर्च देना बंद कर दिया था और गर्लफ्रेंड तो किसी और से शादी कर दो बच्चों की अम्मा बन चुकी थी।
😜😜😜😜
ऐसी मुश्किल परिस्थिति में इंजिनीयर ने तय किया कि अब जो भी काम मिले कर लूँगा कम से कम दो वक़्त की रोटी तो नसीब होगी।
😜😜😜😛😛
तभी बिल्ली के भाग से छींका टूटा और उसे पता चला कि सर्कस में एक मैनेजर की जगह खाली है।
इंजीनियर को लगा कि चाहे जो हो जाये इस नौकरी को हाथ से जाने न दूंगा।
😜😜😜😜😜
उसने इंटरव्यू दिया तो देखा कि सर्कस में तो उसके जैसे इंजीनियर्स की लाइन लगी है, वो ये देख निराश हो गया।
😂😂😂😂
सर्कस का मालिक उसकी निराशा समझ गया, वो भला आदमी था उसने इंजीनियर के कान में कहा कि एक नौकरी है, करना चाहो तो दो वक़्त के खाने और 30 हजार रूपये महीने पे दे सकता हूँ।
😛😛😜😜
इंजीनियर इस काम के लिए ख़ुशी ख़ुशी तैयार हो गया और एक वक़्त का भर पेट खाना खाने के बाद मालिक ने उसे अपने कमरे में बुलाया और बन्दर🙊 की ड्रेस देकर कहा -
इसे पहन लो और किसी पेड़ की डाली में चढ़ कर बैठ जाओ, जब लोग आये तो उन्हें तरह तरह के करतब दिखाओ,
अपनी हरकतों से उन्हें हँसाओ... इंजीनियर ने चुपचाप बन्दर की ड्रेस पहन ली और पेड़ पर चढ़ कर लोगो का मनोरंजन करने लगा।
😄😄😄😄😄
बहुत से लोग आते, उसे देखते और खुश होते। कुछ उसे केला देते तो कुछ मूंगफलियां खिलाते। कुछ इतने कमीने होते कि उसे पत्थर मारते, चिढ़ाते।
😜😜😜😜😜
एक दिन सर्कस देखने उसी के कॉलेज के जूनियर्स का ग्रुप आया था।
वो उन्हें देख कर बहुत खुश हो गया और सोचा कि आज इनका खूब मनोरंजन करूँगा।
लेकिन ये नए नवेले इंजीनियर्स बहुत हरामी थे, ये बन्दर को परेशान करने लगे।
😡😡😡😡😡
कोई उसकी पूँछ खींचने लगा तो कोई पत्थर मारने लगा और इसी खींचतान में बन्दर शेर के बाड़े में गिर गया।
😂😂😂😡😡
बन्दर ने शेर को देखा और शेर ने बन्दर को, लोगो ने बाड़े के बाहर से दोनों को देखा।
.😂😂😂😂😳😳
बन्दर की ड्रेस गीली हो गयी और दर्शको को पसीना छूटने लगा।
बन्दर भगवान् से प्रार्थना करने लगा, उसे लगा कि उसका आखिरी समय आ गया है।
शेर आराम से बन्दर के पास आया और उसे सूंघने लगा, दर्शको की आँखों में आंसू आ गए।
😂😂😢😢😢
बन्दर 🙈ने डर के मारे आँखे बंदi कर ली और हनुमान चालीसा का पाठ करने लगा।
😱😱😱😱😱😱😱
अचानक बन्दर 🙉के कानो में शेर की आवाज़ गूंजी - अबे गुप्ता घबरा मत,
मैं हूँ तेरा सीनियर, सुमित त्रिवेदी 2014  बैच... civil ब्रांच....
😆😆😜😜😜😜?
😛😛😛😜😜😜😜😜

हाय रे बेरोजगारी,,,,,

एक लड़का एक लड़की से बहुत प्यार करता था ।
कभी मिला नहीं था उससे ,
पर हर वक्त उसकी यादें उसकी तस्वीर को देखना उसकी बातों को सोचकर खुश रहना ।
जब उसका call आये तो जैसे ढेरों सारी खुशियाँ मिल गयी हो उसे ।
उस

Show More

एक लड़का एक लड़की से बहुत प्यार करता था ।
कभी मिला नहीं था उससे ,
पर हर वक्त उसकी यादें उसकी तस्वीर को देखना उसकी बातों को सोचकर खुश रहना ।
जब उसका call आये तो जैसे ढेरों सारी खुशियाँ मिल गयी हो उसे ।
उस लड़की से लड़का काफी दूर रहता था ।
जो कभी मिले नहीं एक दूसरे से ।
पर लड़की भी उसको बहुत ज्यादा प्यार करती थी ।
हमेसा उसके लिए ही सोचना ।
काफी वक्त हो गया उनकी प्यार की कहानी को चलते हुए ।
पर उन्होंने एक दूसरे को देखा भी नहीं पर विश्वास उनके प्यार से भी ज्यादा गहरा था ।
कभी एक दूसरे पर शक नहीं किया करते थे ।
किसी बात को लेकर एक दिन दोनों ने मिलने का फैसला किया ।
और लड़का 24 घंटे का सफर करके दूसरे दिन वहाँ पहुंच गया ।
लड़की भी पहुंच गयी ।
और उन्होंने एक होटल में रूम बुक किया ।
लड़के का जन्म दिन था उस दिन ।
लड़की ने लड़के का जन्म दिन मनाया ।
और लड़के को विश किया , केक काटा और दोनों एक दूसरे के गले लग गए ।
दोनों रोने लगे खुशी के मारे ।
दोनों बहुत दिनों के बाद जो मिले थे ।
दोनो ने बहुत बातें की एक दूसरे से ।
उस वक्त उनकी खुशियों का कोई ठिकाना हीं था ।
और लड़का जब वहाँ से जाने लगा अपने घर ।
तो लड़की के मन में एक ही सवाल बार बार आ रहा था ।
और जब नहीं रहा गया तो लड़के से पूछ लिया ।
लड़की,,,,,,,,,बाबू एक बात पूछूं .....
लड़का,,,,,,,हाँ बोलो क्या हुआ ?
लड़की,,,,,,आप इतनी दूर से मुझे मिलने आये इतना पैसा खर्च किया
पर आप ने मेरे साथ वो सब नहीं किया जो सब लड़के लड़की करतें हैं ।
जबकि मैं आप को रोकी भी नहीं फिर भी ।
.
लड़का,,,,, उसको अपने गले लगाकर बोला । बाबू ....अगर मुझे जिस्म चाहिए होता तो पेसों से बहुत मिल जाते हैं ?
मैं यहाँ क्यों आता जिस्म के खातिर ।
और मैं अभी तेरे साथ ऐसा कुछ नहीं कर सकता ।
अगर हम कभी दूर हुए तो आप की इज्जत को आंच नहीं आने दूंगा ।
और आप की इज्जत तो सलामत रहेगी ।
और आप को उस वक्त यही लगेगा कि मेरे साथ कुछ गलत नहीं हुआ है ।
फिर आप आगे बढ़ सकोगी ।
पर प्यार तो दिल से होता है,आप को सामने देखकर बहुत अच्छा लगा ।
और मेरी बाबू बहुत प्यारी है मैं आप को ऐसे ही देखकर खुश हूँ ।
और ये सब तो हमारी सादी के बाद भी होता रहेगा ।
अभी तो हम आप के साथ कुछ नहीं होने देंगे ।
मैं तुम्हारे दिल से प्यार करता हूँ,
तुम्हारे जिस्म से नहीं बाबू ....
लड़की ,,,, लड़के को जोर से पकड़कर उनके बाहों में चिपक गयी
और आखो में आँसू आ गये ।
मैं बहुत खुश नसीब हूँ, मुझे मेरा सच्चा प्यार करने वाला मिल गया ।
मैं कभी दूर नहीं जाऊँगी आप से ..i love you यार ।
मुझे कभी छोड़कर मत जाना मर जाऊँगी आप के बिना ।
लड़का,,,,, खुश नसीब तो मैं आप से ज्यादा हूँ ।
जो मुझे मेरी जान मिली इतनी प्यारी जो मुझे बहुत प्यार करती है ।
और मैं छोड़कर जाना तो दूर की बात सोचता भी नहीं इस बारे में ...love you tu यार ।
और दोनों एक दूसरे के गले लग गए ।
सच है दोस्तों जिस्म का व्यापार तो बाजारो में होता है।
दिल से मोहब्बत हो जाये तो हमेशा सच्चा प्यार होता है ।
अगर जिस्म पर ही मरना हो तो प्यार मत करना ।
कहीं किराये का जिस्म लेकर चले जाना ।
पर सच्चा प्यार का नाम लेकर किसी की जिंदगी के साथ खिलवाड़ मत करना ।

लड़की फ्रेंड से :- "मुझे कुछ कहना है"­

लड़का:- हाँ कहो ना ।­

लड़की :- समझ नही आता कैसे कहूं ???­

लड़का:- कहो ना प्लीज ।­

लड़की:- मैं माँ बनने वाली हूं ......­

लड़का बात काट कर :- नहींई ईईईई!!! ये नहीं&

Show More

लड़की फ्रेंड से :- "मुझे कुछ कहना है"­

लड़का:- हाँ कहो ना ।­

लड़की :- समझ नही आता कैसे कहूं ???­

लड़का:- कहो ना प्लीज ।­

लड़की:- मैं माँ बनने वाली हूं ......­

लड़का बात काट कर :- नहींई ईईईई!!! ये नहीं­ हो सकता.... कह दो ये झूठ है .... ये कैसै­ सम्भव है .....
हमारा प्यार तो गंगाजल की तरह पवित्र हैं .­..

लड़की:- बकवास मत कर.... अबे गधे पहले पूरी­ बात तो सुन मैं तुम्हारी माँ बनने वाली हू­ं....
तुम्हारे बाप ने प्रपोज किया है ।­

लडका बेहोश....😂😂😂­

पत्नि मायके से घर वापिस आई...

पत्नि (पती से) - सुनो,  तुमने पडोसन टीना को क्या बोल दिया था... जो वो इतना गुस्सा हो कर गई... ??

पती- क्या...? कुछ भी तो नही कहा.. !!🙄

पत्नि- फ़िर वो तुमसे लडने क्यु आ गई... ??

पती- मुझे क

Show More

पत्नि मायके से घर वापिस आई...

पत्नि (पती से) - सुनो,  तुमने पडोसन टीना को क्या बोल दिया था... जो वो इतना गुस्सा हो कर गई... ??

पती- क्या...? कुछ भी तो नही कहा.. !!🙄

पत्नि- फ़िर वो तुमसे लडने क्यु आ गई... ??

पती- मुझे क्या पता... ??🤥

पत्नि- सच बोलो... वरना बोलने लायक नही रहोगे... ।।😡

पति- जानु... अब तुमही बताओ.... अगर तुम सुबह चाय पी रही हो और कोई आ जाए तो तुम क्या करोगी???

पत्नि- उसे चाय का पुछुंगी!

पति- दोपहर को तुम खाना खा रही हो... और कोई आ जाए तो तुम क्या करोगी.... ???

पत्नि - उसे खाने को पूछूगी।

पति- बस मैने भी ये ही किया... जब पडोसन टीना रात को हमारे घर आई तो ....तब मै सोने की तैयारी कर रहा था....
मुँह से निकल गया: ... आ जाओ सोएं।। 😲🤕
🙈🙉🙊

पत्नि ने लिटा लिटा के मारा... ।।। 😩😤😩

एक आदमी नदी मे डूब रहा था।

वो जोर जोर से चिल्लाया –
“गणेश जी बचाओ”
“गणेश जी बचाओ”

गणेश जी आए ओर नदी किनारे नाच ने लगे।

आदमी :”प्रभु आप नाच क्यों रहे हो? मुझे बचाओ…”

गणेश जी मुस्कुराते हुए बोले –
“तू भी तो मेरे विसर्जन मे बहुत नाच रहा था…!

जिनके दिल पे लगती है चोट
वो आँखों से नही रोते.
जो अपनो के ना हुए, किसी के नही होते,
मेरे हालातों ने मुझे ये सिखाया है,
की सपने टूट जाते हैं
पर पूरे नही होते
💔💔💔

“I love you and that’s the beginning and end of everything.” – F. Scott Fitzgerald

Story of Hir and Ranjha

हीर पंजाब के झंग शहर में जाटों की सियाल उपजाति के एक अमीर परिवार में पैदा हुई एक बहुत सुन्दर स्त्री थी। धीदो रांझा चनाब नदी के किनारे तख़्त हज़ारा नामक गाँव के एक रांझा उपजाति वाले जा

Show More

Story of Hir and Ranjha

हीर पंजाब के झंग शहर में जाटों की सियाल उपजाति के एक अमीर परिवार में पैदा हुई एक बहुत सुन्दर स्त्री थी। धीदो रांझा चनाब नदी के किनारे तख़्त हज़ारा नामक गाँव के एक रांझा उपजाति वाले जाट परिवार के चार लड़कों में सबसे छोटा भाई था। वह अपने पिता का प्रिय बेटा था इसलिए जहाँ उसके भाई खेतों में महनत करते थे, रांझा बांसुरी (पंजाबी में 'वंजली') बजाता आराम की ज़िन्दगी बसर कर रहा था। उसकी भाभियों ने उसे खाना देने से इनकार कर दिया और वह घर छोड़कर निकल पड़ा और चलते-चलते हीर के गाँव पहुँच गया। वहाँ उसे हीर से प्यार हो गया। हीर ने उसे अपने पिता की गाय-भैसें चराने का काम दिया। रांझे की बांसुरी सुनकर वह मुग्ध हो गई और उस से प्यार कर बैठी। वह एक-दूसरे से छुप-छुप कर मिलने लगे। एक दिन उन्हें हीर का ईर्ष्यालु चाचा, कैदो, देख लेता है और उसके पिता (चूचक) और माता (मलकी) ज़बरदस्ती हीर की शादी एक सैदा खेड़ा नाम के आदमी से कर देते हैं।

रांझे का दिल टूट जाता है और वह जोग लेने के लिए बाबा गोरखनाथ के प्रसिद्ध डेरे, टिल्ला जोगियाँ, चला जाता है। गोरखनाथ के चेले अपने कान छिदाकर बालियाँ पहनने के कारण कानफटे कहलाते हैं। रांझा भी कान छिदाकर 'अलख निरंजन' का जाप करता पूरे पंजाब में घूमता है। आख़िरकर एक दिन वह हीर के ससुराल वाले गाँव पहुँच जाता है। हीर-राँझा दोनों हीर के गाँव आ जाते हैं जहाँ हीर के माँ-पिता उन्हें शादी करने की इजाज़त दे देते हैं लेकिन हीर का चाचा कैदो उन्हें ख़ुश देखकर जलता है। शादी के दिन कैदो हीर के खाने में ज़हर डाल देता है। यह ख़बर सुनकर रांझा उसे बचने दौड़ा आता है लेकिन बहुत देर हो चुकी होती है। रांझा बर्दाश्त से ज़्यादा दुख पाकर उसी ज़हरीले लड्डू को खा लेता है और हीर के बग़ल में दम तोड़ देता है। उन्हें हीर के शहर, झंग, में दफ़नाया जाता है और हर तरफ़ से लोग उनके मज़ार पर आकर उन्हें याद करते हैं।

जहाँ खामोश फिजा थी, साया भी न था;
हमसा कोई किस जुर्म में आया भी न था!
न जाने क्यों छिनी गई हमसे हंसी;
हमने तो किसी का दिल दुखाया भी न था!

"लफ़्ज़ों" की "जागीर" नहीं हम,
"अहसासों" का "समंदर" रखते हैं...

"समझ" सके जो हाल "दिलों" का,
"बस" ऎसा  एक "दिल" भी रखते हैं

एक लड़की की शादी उसकी मर्जी के खिलाफ एक सिधे साधे लड़के से की जाती है जिसके घर मे एक मां के आलावा और कोई नहीं है।
दहेज मे लड़के को बहुत सारे उपहार और पैसे मिले होते हैं । लड़की किसी और लड़के से बेह

Show More

एक लड़की की शादी उसकी मर्जी के खिलाफ एक सिधे साधे लड़के से की जाती है जिसके घर मे एक मां के आलावा और कोई नहीं है।
दहेज मे लड़के को बहुत सारे उपहार और पैसे मिले होते हैं । लड़की किसी और लड़के से बेहद प्यार करती थी और लड़का भी...

लड़की शादी होके आ गयी अपने ससुराल...
सुहागरात के वक्त लड़का दूध लेके आता है तो दुल्हन सवाल पूछती है अपने पति से...
एक पत्नी की मर्जी के बिना पति उसको हाथ लगाये तो उसे बलात्कार कहते है या हक?
पति - आपको इतनी लम्बी और गहरी जाने की कोई जरूरत नहीं है..

बस दूध लाया हूँ पी लिजीयेगा.. . हम सिर्फ आपको शुभ रात्रि कहने आये थे कहके कमरे से निकल जाता है।
लड़की मन मारकर रह जाती है क्योंकि लड़की चाहती थी की झगड़ा हो ताकी मैं इस गंवार से पिछा छुटा सकूँ ।

है तो दुल्हन मगर घर का कोई भी काम नहीं करती। बस दिनभर online रहती और न जाने किस किस से बातें करती
मगर उधर लड़के की माँ बिना शिकायत के दिन भर चुल्हा चौका से लेकर घर का सारा काम करती
मगर हर पल अपने होंठों पर मुस्कुराहट लेके फिरती ।
लड़का एक कम्पनी मे छोटा सा मुलाजीम है और बेहद ही मेहनती और इमानदार।

करीब महीने भर बित गये मगर पति पत्नी अब तक साथ नहीं सोये...
 वैसे लड़का बहुत शांत स्वाभाव वाला था इसलिए वह ज्यादा बातें नहीं करता था,
बस खाने के वक्त अपनी पत्नी से पूछ लेता था कि... .कहा खाओगी..अपने कमरे मे या हमारे साथ।
और सोने से पहले डायरी लिखने की आदत थी जो वह हर रात को लिखता था।

ऐसे लड़की के पास एक स्कूटी था वह हर रोज बाहर जाती थी पति के अफीस जाने के बाद और पति के वापस लौटते ही आ जाती थी।
छुट्टी का दिन था लड़का भी घर पे ही था तो लड़की ने अच्छे भले खाने को भी गंदा कहके मा को अपशब्द बोलके खाना फेंक देती है
मगर वह शांत रहने वाला उसका पति अपनी पत्नी पर हाथ उठा देता है
मगर माँ अपने बेटे को बहुत डांटती है। इधर लड़की को बहाना चाहिए था झगड़े का जो उसे मिल गया था,
वह पैर पटकती हुई स्कूटी लेके निकल पड़ती है।

लड़की जो रोज घर से बाहर जाती थी वह अपने प्यार से मिलने जाती थी, लड़की भले टूटकर चाहती थी लड़के को
मगर उसे पता था की हर लड़की की एक हद होती है जिसे इज्जत कहते है वह उसको बचाये रखी थी।
इधर लड़की अपने प्यार के पास पहुँचकर कहती है। अब तो एक पल भी उस घर मे नहीं रहना है मुझे । आज गंवार ने मुझपर हाथ उठाके अच्छा नही किया ।
लड़का - अरे तुमसे तो मैं कब से कहता हूँ की भाग चलो मेरे साथ कहीं दूर मगर तुम हो की आज कल आज कल पे लगी रहती हो।

लड़की - शादी के दिन मैं आई थी तो तुम्हारे पास। तुम ही ने तो लौटाया था मुझे ।
लड़का - खाली हाथ कहा तक भागोगे तुम ही बोलो..मैंने तो कहा था कि कुछ पैसे और गहने साथ ले लो तुम तो खाली हाथ आई थी।
आखिर दूर एक नयी जगह मे जिंदगी नये सिरे से शुरू करने के लिए पैसे तो चाहिए न?
लड़की - तुम्हारे और मेरे प्यार के बारे मे जानकर मेरे घरवालो ने बैंक के पास बुक एटी एम और मेरे गहने तक रख लिये थे। तो मैं क्या लाती अपने साथ । हम दोनों मेहनत करके कमा भी तो सकते थे।

लड़का - चलाकर इंसान पहले सोचता है और फिर काम करता है। खाली हाथ भागते तो ये इश्क का भूत दो दिन मे उतर जाता समझी?
और जब भी तुम्हें छुना चाहता हूँ बहुत नखरे है तुम्हारे । बस कहती हो शादी के बाद ।
लड़की - हाँ शादी के बाद ही अच्छा होता है ये सब और सब तुम्हारा तो है।
मैं आज भी एक कुवारी लड़की हूँ । शादी करके भी आज तक उस गंवार के साथ सो न सकी
क्योंकि तुम्हें ही अपना पति मान चुकी हूँ बस तुम्हारे नाम की सिंदूर लगानी बाकी है।
बस वह लगा दो सबकुछ तुम अपनी मर्जी से करना।

लड़का - ठीक है मैं तैयार हूँ । मगर इस बार कुछ पैसे जरूर साथ लेके आना, मत सोचना हम दौलत से प्यार करते हैं ।
हम सिर्फ तुमसे प्यार करते है बस कुछ छोटी मोटी बिजनेस के लिए पैसे चाहिए ।
लड़की - उस गंवार के पास कहा होगा पैसा, मेरे बाप से 3 लाख रूपया उपर से मारूती कार लि है।
बस कुछ गहने है वह लेके आउगी आज।

लड़का लड़की को होटल का पता देकर चला जाता है । लड़की घर आके फिर से लड़ाई करती है।
मगर अफसोस वह अकेली चिल्लाती रहती है उससे लड़ने वाला कोई नहीं था।
रात 8 बजे लड़के का मैसेज आता है वाटसप पे की कब आ रही हो?
लड़की जवाब देती है सब्र करो कोई सोया नहीं है। मैं 12 बजे से पहले पहुँच जाउगी क्योंकि यंहा तुम्हारे बिना मेरी सांसे घुटती है।
लड़का -ओके जल्दी आना। मैं होटल के बाहर खड़ा रहूंगा
bye

लड़की अपने पति को बोल देती है की मुझे खाना नहीं चाहिए मैंने बाहर खा लिया है
इसलिए मुझे कोई परेशान न करे इतना कहके दरवाजा बंद करके अंदर आती है
की...पति बोलता है की...वह आलमारी से मेरी डायरी दे दो फिर बंद करना दरवाजा। हम परेशान नहीं करेंगे ।
लड़की दरवाजा खोले बिना कहती है की चाभीया दो अलमारी की,
लड़का - तुम्हारे बिस्तर के पैरों तले है चाबी ।

मगर लड़की दरवाजा नहीं खोलती वल्की जोर जोर से गाना सुनने लगती है।
बाहर पति कुछ देर दरवाजा पिटता है फिर हारकर लौट जाता है।
लड़की ने बड़े जोर से गाना बजा रखा था।
फिर वह आलमारी खोलके देखती है जो उसने पहली बार खोला था, क्योंकि वह अपना समान अलग आलमारी मे रखती थी।
आलमारी खोलते ही हैरान रह जाती है। आलमारी मे उसके अपने पास बुक एटी एम कार्ड थे जो उसके घरवालो ने छीन के रखे थे
खोलके चेक किया तो उसमें वह पैसे भी एड थे जो दहेज मे लड़के को मिले थे।
और बहुत सारे गहने भी जो एक पेपर के साथ थे और उसकी मिल्कीयेत लड़की के नाम थी, लड़की बेहद हैरान और परेशान थी।
फिर उसकी नजर डायरी मे पड़ती है और वह जल्दी से वह डायरी निकालके पढ़ने लगती है।

लिखा था, तुम्हारे पापा ने एक दिन मेरी मां की जान बचाइ थी अपना खून देकर ।
मैं अपनी माँ से बेहद प्यार करता हूँ इसलिए मैंने झूककर आपके पापा को प्रणाम करके कहा की...आपका ये अनमोल एहसान कभी नही भूलूंगा,
 कुछ दिन बाद आपके पापा हमारे घर आये हमारे तुम्हारे रिश्ते की बात लेकर
 मगर उन्होंने आपकी हर बात बताई हमें की आप एक लड़के से बेहद प्यार करती हो।
 आपके पापा आपकी खुशी चाहते थे इसलिए वह पहले लड़के को जानना चाहते थे।

आखिर आप अपने पापा की princess जो थी और हर बाप अपने Princess के लिए एक अच्छा इमानदार Prince चाहता है।
आपके पापा ने खोजकर के पता लगाया की वह लड़का बहुत सी लड़की को धोखा दे चुका है। और पहली शादी भी हो चुकी है
पर आपको बता न सके क्योंकि उन्हें पता था की ये जो इश्क का नशा है वह हमेशा अपनों को गैर और गैर को अपना समझता है।
ऐक बाप के मुँह से एक बेटी की कहानी सुनकर मै अचम्भीत हो गया। हर बाप यंहा तक शायद ही सोचे।
मुझे यकीन हो गया था की एक अच्छा पति होने का सम्मान मिले न मिले मगर एक दामाद होने की इज्जत मैं हमेशा पा सकता हूँ।

मुझे दहेज मे मिले सारे पैसे मैंने तुम्हारे ए काउण्ट मे कर दिए और तुम्हारे घर से मिली गाड़ी आज भी तुम्हारे घर पे है
जो मैंने इसलिए भेजी ताकी जब तुम्हें मुझसे प्यार हो जाये तो साथ चलेंगे कही दूर घूमने।
दहेज...इस नाम से नफरत है मुझे क्योंकि मैंने इ दहेज मे अपनी बहन और बाप को खोया है।
मेरे बाप के अंतिम शब्द भी येही थे की..कीसी बेटी के बाप से कभी एक रूपया न लेना।

मर्द हो तो कमाके खिलाना, तुम आजाद हो कहीं भी जा सकती हो।
डायरी के बिच पन्नों पर तलाक की पेपर है जंहा मैंने पहले ही साईन कर दिया है ।
जब तुम्हें लगे की अब इस गंवार के साथ नही रखना है तो साईन करके कहीं भी अपनी सारी चिजे लेके जा सकती हो।
लड़की ...हैरान थी परेशान थी...न चाहते हुए भी गंवार के शब्दों ने दिल को छुआ था।
 न चाहते हुए भी गंवार के अनदेखे प्यार को महसूस करके पलके नम हुई थी।
आगे लिखा था, मैंने तुम्हें इसलिए मारा क्योंकि आपने मा को गाली दी, और जो बेटा खुद के आगे मा की बेइज्जती होते सहन कर जाये...फिर वह बेटा कैसा ।

कल आपके भी बच्चे होंगे । चाहे किसी के साथ भी हो, तब महसूस होगी माँ की महानता और प्यार।
आपको दुल्हन बनाके हमसफर बनाने लाया हूँ जबरजस्ती करने नहीं।
जब प्यार हो जाये तो भरपूर वसूल कर लूँगा आपसे...
आपके हर गुस्ताखी का बदला हम शिद्दत से लेंगे हम आपसे...गर आप मेरी हुई तो बेपनाह मोहब्बत करके किसी और की हुई तो आपके हक मे दुवाये माँग के
लड़की का फोन बज रहा था जो भायब्रेशन मोड पे था, लड़की अब दुल्हन बन चुकी थी। पलकों से आशू गिर रहे थे ।
सिसकते हुए मोबाइल से पहले सिम निकाल के तोड़ा फिर सारा सामान जैसा था वैसे रख के न जाने कब सो गई पता नहीं चला।
सुबह देर से जागी तब तक गंवार अफीस जा चुका था, पहले नहा धोकर साड़ी पहनी ।
लम्बी सी सिंदूर डाली अपनी माँग मे फिर मंगलसूत्र ।

जबकि पहले एक टीकी जैसी साईड पे सिंदूर लगाती थी ताकी कोई लड़का ध्यान न दे
मगर आज 10 किलोमीटर से भी दिखाई दे ऐसी लम्बी और गाढी सिंदूर लगाई थी दुल्हन ने।
फिर किचन मे जाके सासुमा को जबर्दस्ती कमरे मे लेके तैयार होने को कहती है।
और अपने गंवार पति के लिए थोड़े नमकीन थोड़े हलुवे और चाय बनाके अपनी स्कूटी मे सासुमा को जबर्दस्ती बिठाकर (जबकी कुछ पता ही नहीं है उनको की बहू आज मुझे कहा ले जा रही है बस बैठ जाती है)
फिर रास्ते मे सासुमा को पति के अफीस का पता पूछकर अफीस पहुँच जाती है।
पति हैरान रह जाता है पत्नी को इस हालत मे देखकर।

पति - सब ठीक तो है न मां?
मगर माँ बोलती इससे पहले पत्नी गले लगाकर कहती है की..अब सब ठीक है...I love you forever...
अफीस के लोग सब खड़े हो जाते है तो दुल्हन कहती है की..मै इनकी धर्मपत्नी हूँ । बनवास गई थी सुबह लौटी हूँ
अब एक महीने तक मेरे पतिदेव अफीस मे दिखाई नहीं देंगे अफीस के लोग? ?????
दुल्हन - क्योंकि हम लम्बी छुट्टी पे जा रहे साथ साथ।
पति- पागल...
दुल्हन - आपके सादगी और भोलेपन ने बनाया है।
सभी लोग तालीया बजाते हैं और दुल्हन फिर से लिपट जाती है अपने गंवार से ...जंहा से वह दोबारा कभी भी छूटना नहीं चाहती।

बच्चा दादी के पास आया और बोला
बच्चा–दादी माँ आप टें बोल कर दिखाओ
दादी–टें
बच्चा–फिर से बोलो
दादी–टें
बच्चा–एक बार और
दादी–टें
बच्चा–कितना बढिया बोलती हैं
आप मम्मी को क्यों नहीं सुना देती
दादी–क्या मतलब तेरी मम्मी को क्यों सुनाऊँ?
बच्चा–वह अपनीं सहेलियों से कह रही थी
इसकी दादी पता नहीं कब टें बोलेंगी।

निगाहें तो बस ज़रिया हैं इज़हार का...!!

ज़रा...मेरे दिल में झांककर देख एक दरिया हैं प्यार का...!!

💞

एक बार एक पजामा पहने हुए इंडियन से एक अंग्रेज ने पूछा -
.
आप का यह देशी पैंट (पजामा) कितने दिन चल जाता है..?
.
इंडियन ने जवाब दिया:
कुछ ख़ास नहीं, मैं इसे एक साल पहनता हूं।
.
उसके बाद श्रीमति जी इसको क

Show More

एक बार एक पजामा पहने हुए इंडियन से एक अंग्रेज ने पूछा -
.
आप का यह देशी पैंट (पजामा) कितने दिन चल जाता है..?
.
इंडियन ने जवाब दिया:
कुछ ख़ास नहीं, मैं इसे एक साल पहनता हूं।
.
उसके बाद श्रीमति जी इसको काटकर राजू के साइज़ का बना देती है।
.
फिर राजू इसे एक साल पहनता है।
😜😜😜😜😜😜😜.
उसके बाद श्रीमति जी इसको काट-छांट कर तकियों के कवर बना लेती हैं।
😜😜😜😜😜😜😜.
फिर एक साल बाद उन कवर का झाड़ू पोछे में इस्तेमाल करते हैं।"
😜😜😜😜😜😜😜
अंग्रेज बोला:
फिर फेंक देते होंगे..?
😜😜😜😜😜😜😜.
इंडियन ने फिर कहा :
नहीं-नहीं इसके बाद 6 महीने तक मै इस से अपने जूते साफ़ करता हूं और अगले 6 महीने तक बाइक का साइलेंसर चमकाता हूं।
😜😜😜😜😜😜😜.
बाद में उसे हाथ से बनाई जाने वाली गेंद में काम लेते हैं और अंत में कोयले की सिगडी (चूल्हा) सुलगाने के काम में लेते हैं
और सिगड़ी (चूल्हे) की राख बर्तन मांजने के काम में लेते हैं।
😜😜😜😜😜😜😜😜
इतना सुनने के बाद अंग्रेज बेहोश होकर गिर गया..!
और उसे होश आने पर एहसास हुआ
कि आखिर अंग्रेज भारत छोड़कर जाने पर क्यों मजबूर हुए..!!
😜😜😜😜😜😜🌟🌟

*आईने का जीवन भी लाजवाब है*

*जिसमें स्वागत सभी का है*

*लेकिन, संग्रह किसी का नहीं*

Follow the path of truth
Spread Bapu’s great Ideas to inspire everyone
Happy Gandhi Jayanti…..!!!

First they ignore you.
Then they laugh at you.
Then they fight you.
Then you win.

Mahatma Gandhi

Our Other Projects

Resume Creating
Resume Creating
Tourist Helps
Tourist Helps
All Exam Info
All Exam Info
Developer Wizard
Developer Wizard